गणेश मंत्र वेदों में स्थापित एक प्राचीन मंत्र है जो भगवान गणेश को समर्पित है। यह मंत्र भक्तों को आशीर्वाद और सुख-शांति की प्राप्ति के लिए प्रयोग किया जाता है। यह Ganesh mantra उन सभी लोगों के लिए उपयुक्त है जो नए कार्य की शुरुआत करने जा रहे हों, अविघ्न में सफलता प्राप्त करना चाहते हों, या जीवन में सुख-शांति।
सारांश: मंत्र का जप करने से व्यक्ति को आत्मविश्वास और ऊर्जा की प्राप्ति होती है। यह मंत्र जीवन में सभी कठिनाइयों को पार करने में सहायक होता है और आने वाले संघर्षों के लिए शक्ति प्रदान करता है। Ganesh mantra mp3 के द्वारा इसका पाठ किया जा सकता है और इससे होने वाले लाभ को प्राप्त कर सकते है।
गणपूज्यो वक्रतुण्ड एकदंष्ट्री त्रियम्बक:।
नीलग्रीवो लम्बोदरो विकटो विघ्रराजक :॥
धूम्रवर्णों भालचन्द्रो दशमस्तु विनायक:।
गणपर्तिहस्तिमुखो द्वादशारे यजेद्गणम॥1॥
ॐ श्रीं गं सौभ्याय गणपतये वर वरद सर्वजनं मे वशमानय स्वाहा॥2॥
ॐ हस्ति पिशाचि लिखे स्वाहा॥3॥
ॐ गं क्षिप्रप्रसादनाय नम॥4॥
ॐ श्रीं ह्रीं क्लीं ग्लौं गं गण्पत्ये वर वरदे नमः
ॐ तत्पुरुषाय विद्महे वक्रतुण्डाय धीमहि तन्नो दन्तिः प्रचोदयात ॥5॥
ॐ वक्रतुण्डेक द्रष्टाय क्लींहीं श्रीं गं गणपतये
वर वरद सर्वजनं मं दशमानय स्वाहा ॥6॥
विघ्नेश्वराय वरदाय सुरप्रियाय लंबोदराय सकलाय जगद्धितायं।
नागाननाथ श्रुतियज्ञविभूषिताय गौरीसुताय गणनाथ नमो नमस्ते॥7॥
अमेयाय च हेरंब परशुधारकाय ते।
मूषक वाहनायैव विश्वेशाय नमो नमः॥8॥
एकदंताय शुद्धाय सुमुखाय नमो नमः।
प्रपन्न जनपालाय प्रणतार्ति विनाशिने॥9॥
एकदंताय विद्महे, वक्रतुंडाय धीमहि, तन्नो दंती प्रचोदयात॥10॥
ॐ नमो सिद्धि विनायकाय सर्व कार्य कर्त्रेय
सर्व विघ्न प्रशमनाय सर्वाजाय वश्यकर्णाय
सर्वजन सर्वस्त्री पुरुष आकर्षणाय श्रीं ॐ स्वाहा..॥11॥
Ganesh Mantra करने के तरीके
- साफ़ सफाई: सबसे पहले स्वच्छ जगह बनाये फिर शांत मुद्रा में बैठें।
- पूजन सामग्री की तैयारी: गणेश जी की मूर्ति या फिर उनकी फोटो पूजन के लिए दीपक, धूप, अगरबत्ती, फूल, नैवेद्य, जल आदि की सामने पूजन सामग्री तैयार करें।
- मंत्र का जाप: गणेश मंत्रों में से किसी एक मंत्र का जाप करें।
- मंत्र का ध्यान: मंत्र का जाप करते समय गणेश जी का ध्यान करें।
- पूजा की समाप्ति: मंत्र के जाप के बाद उनकी आरती करें और आदर से प्रणाम करें।
- आशीर्वाद लें: गणेश जी से आशीर्वाद प्राप्त करें और उनके वरदान का धन्यवाद करें।
यह गणेश जी के मंत्र करने की सामान्य विधि है, जिसे भक्तिमयी भावना और श्रद्धा के साथ अनुसरण करना चाहिए। इसके अलावा अनेक मंत्र जैसे – ganesh puja mantra, ganesh chaturthi mantra, ganesh visarjan mantra आदि का नियमित जप करने से व्यक्ति की ध्यान शक्ति और मानसिक स्थिरता में सुधार होता है, जो उसके जीवन को समृद्धि और सम्पन्नता की ओर ले जाता है।
मंत्र लाभ
- विघ्नों का दूर होना: मंत्र का जाप करने से व्यक्ति के जीवन में आने वाले विघ्न और अवरोध का समाप्त होने में मदद मिलती है।
- सफलता की प्राप्ति: यह मंत्र उन व्यक्तियों को सफलता की ओर ले जाता है जो नए कार्यों की शुरुआत कर रहे हों या किसी भी प्रकार के परिस्थितियों में सफलता प्राप्त करना चाहते हों।
- आत्मविश्वास की वृद्धि: मंत्र का जाप करने से व्यक्ति का आत्मविश्वास बढ़ता है और वह अपने कार्यों को पूरा करने के लिए नई ऊर्जा प्राप्त करता है।
- बुरे प्रभावों का निवारण: मंत्र के जाप से व्यक्ति को नकारात्मकता से लड़ने की क्षमता प्राप्त होती है और वह अपने जीवन में सकारात्मक परिणाम प्राप्त करता है।
- ध्यान और मानसिक स्थिरता: जाप करने से मन की शांति, स्थिरता और ध्यान की क्षमता में सुधार होता है।
- कष्टों का निवारण: यह मंत्र व्यक्ति को कठिनाईयों और चुनौतियों का सामना करने की शक्ति प्रदान करता है और उसे उन्हें पार करने की क्षमता देता है।
FAQ
गणेश मंत्र क्या है?
गणेश मंत्र एक प्राचीन संस्कृत मंत्र है जो भगवान गणेश को समर्पित है। यह मंत्र उन्हें समर्पित किया जाता है और उनकी कृपा और आशीर्वाद की प्राप्ति के लिए जाप किया जाता है।
इस मंत्र का उद्देश्य क्या है?
इस मंत्र का मुख्य उद्देश्य है विघ्नों को दूर करके सफलता की प्राप्ति में मदद करना और व्यक्ति को आशीर्वाद प्राप्त करना।
किसी भी समय इस मंत्र का जाप कर सकते हैं?
हां, इस मंत्र का जाप किसी भी समय किया जा सकता है, लेकिन बुधवार के दिन और सूर्योदय के समय का जाप अधिक प्रभावी माना जाता है।
क्या इस मंत्र को किसी कोई विशेष धर्मी व्यक्ति ही जाप कर सकता है?
नहीं, इस मंत्र को कोई भी व्यक्ति जाप कर सकता है, चाहे वह किसी धर्म का हो या न हो।
इस मंत्र को कितनी बार जाप करना चाहिए?
इस मंत्र को साधारणतः 108 बार जाप किया जाता है, लेकिन इसे अपनी साधना और समय के अनुसार भी जाप किया जा सकता है।